बिहार की राजधानी पटना से सटे छोटे से कस्बे में रहने वाली मधुमिता को गूगल ने एक करोड़ का पैकेज दिया। शनिवार की रात मधुमिता ने स्विट्जरलैंड जाने के लिए पटना एयरपोर्ट से सफलता की उड़ान भरी। खगौल की रहने वाली मधुमिता को विश्व की सबसे नामचीन कंपनी गूगल ने 7 राउंड के इंटरव्यू के बाद बुलावा भेजा। वह रविवार को दिल्ली से अहले सुबह स्विटरलैंड के लिए उड़ान भरेगी। सोमवार को स्विट्जरलैंड में गूगल के कार्यालय में उसे ज्वॉइन करना है। आरपीएफ हाजीपुर में सहायक कमांडेंट के पद पर पदस्थापित सुरेंद्र शर्मा की बेटी ने अपनी सफलता से देश का मान बढ़ाया है। परिवार के सदस्य मधुमिता को रवाना करने पटना एयरपोर्ट पर मौजूद रहे।
मधुमिता ने बताया कि गूगल के अलावा मर्सिडीज और अमेजोन जैसे बड़ी कंपनियों का ऑफर आया था। लेकिन, गूगल में ही ज्वाइन करने का इरादा था मेरा। कहती हैं कि माना जाता है कि गूगल में बड़े-बड़े इंजीनिर्यंरग संस्थान के छात्र ही चयनित होते हैं। साथ ही गूगल में बहुत कम लोगों से काम लिया जाता है, वो भी दुनिया के कोने-कोने के प्रतिष्ठित इंजीनिर्यंरग कॉलेज के छात्रों का इंटरव्यू करने के बाद।
मधुमिता बताती हैं कि जयपुर के आर्या कॉलेज ऑफ इंजीनिर्यंरग नामी गिरामी संस्थान नहीं है। बावजूद गूगल में काम करने का संकल्प मैंने लिया। इस कंपनी में काम करने के लिए इसलिए भी ठाना था, क्योंकि कि गूगल में काम मिलना काफी कठिन होता है। मेरे लिए ये जानना जरूरी था कि आखिर ऐसा क्यों है। यही कारण है कि बाकी कंपनियों का ऑफर आने के बावजूद मैंने गूगल में ही काम करने का निश्चय किया। इसके लिए लगभग 6 से 7 महीने की तैयारी की। ये जाना की इस कंपनी में चयनित होने के लिए कैसी तैयारी करनी पड़ती है और इंटरव्यू में कैसे सवाल पूछे जाते हैं। तैयारी के बाद कम्पनी में अप्लाई किया और फिर शुरू हुआ इंटरव्यू का दौर जो लगभग ढाई महीने तक चला।
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