मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के संकल्प पर दूल्हे के घरवालों ने दहेज की राशि दुल्हन के घरवालों को लौटा दी और बगैर दहेज लिए शादी करने को तैयार हो गये. आरा शहर के अनाइठ स्थित एकता नगर मुहल्ले के रहनेवाले रिटायर्ड हेडमास्टर हरेंद्र सिंह के इस फैसले की चारों ओर प्रशंसा हो रही है.
मूल रूप से जगदीशपुर प्रखंड के बरनाव गांव के रहनेवाले हरेंद्र सिंह ने अपने छोटे बेटे प्रेमरंजन सिंह उर्फ छोटू की शादी कोइलवर प्रखंड के जमालपुर के प्रमोद सिंह की बेटी अनुराधा उर्फ अनु से तय किया था. लड़की का परिवार रांची में रहता है. शादी तय होने के बाद लड़कीवालों ने वर पक्ष को चार लाख रुपये दिये थे. लड़के के घरवालों ने बताया कि मुख्यमंत्री के दहेज के खिलाफ चलाये जा रहे अभियान को बल देने के लिए बगैर दहेज लिए शादी करने का पूरे परिवार ने फैसला लिया. इसके बाद लड़कीवालों के चार लाख रुपये लौटा दिये गये.
दूल्हे के बड़े भाई प्रोपर्टी डीलर राजीव रंजन सिंह ने बताया कि जीयर स्वामी जी महाराज के नेतृत्व में आयोजित अंतरराष्ट्रीय धर्म सम्मेलन में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने दहेज के खिलाफ अभियान का जो संकल्प दिलाया उसके बाद पूरे परिवार ने दहेज की राशि लौटने का फैसला लिया. दूल्हा प्रेमरंजन सिंह आईटी डिप्लोमा कोर्स करने के बाद इलेक्ट्रॉनिक्स की दुकान चलाते हैं. वहीं दुल्हन अनुराधा ने स्नातक तक की पढ़ाई की है.
पैसा लौटाने पर सकते में आ गये दुल्हन के घर वाले
दूल्हे की मां लीलावती देवी ने बताया कि फरवरी माह में बेटे की शादी तय हुई थी, जिसके बाद लड़की पक्ष ने पैसे दिये थे. पैसा लौटने के लिए जब लड़के के घरवाले गये तो लड़की के घरवाले सकते में आ गये. उन लोगों को ऐसा लगा कि कोई बात हो गयी है और दूल्हे के घरवाले अब शादी से इन्कार करेंगे.
लड़कीवाले पैसा लेने से मना करने लगे लेकिन लड़केवालों ने जब पूरी तरह से आश्वस्त किया, तो वे लोग गर्व महसूस करने लगे. दुल्हन के पिता प्रमोद सिंह और माता निर्मला देवी का कहना है कि उनको गर्व है कि बिटिया नेक घर में जा रही है.
लड़के के पिता हरेंद्र सिंह ने बताया कि बगैर दहेज के बेटे की शादी करेंगे. उनकी तीन संतान हैं, जिसमें एक बेटी सुनिति है. इस शादी में अगुआ की भूमिका निभानेवाले उदवंतनगर के अजय सिंह ने बताया कि लड़केवालों के इस फैसले से समाज में नया संदेश जायेगा.
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